न्यू गोरखपुर बसाने पर करीब 17 हजार करोड़ रुपए की लागत आएगी। इसमें से 3000 करोड़ रुपये मुख्यमंत्री पहले ही मंजूर कर चुके हैं। न्यू गोरखपुर में करीब पांच लाख लोग बसेंगे। यहां हर तरह की सुविधाएं होंगी।
New Gorakhpur: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मार्गदर्शन में गोरखपुर विकास प्राधिकरण (जीडीए) ने नया गोरखपुर बसाने की परियोजना तैयार की है। शहर के उत्तरी और उत्तरी पूर्वी छोर (पिपराइच-मानीराम बेल्ट) में करीब 6000 एकड़ में मॉडल सैटेलाइट सिटी के रूप में नया गोरखपुर परियोजना जमीन पर उतरेगी। इस पर करीब 17 हजार करोड़ की लागत आएगी, जिसमें से 3000 करोड़ रुपये मुख्यमंत्री पहले ही मंजूर कर चुके हैं। न्यू गोरखपुर में करीब पांच लाख लोग बसेंगे।
मंगलवार को जीडीए के विकास कार्यों की समीक्षा के दौरान मंडलायुक्त और जीडीए बोर्ड के अध्यक्ष अनिल ढींगरा ने न्यू गोरखपुर प्रोजेक्ट पर मंथन किया। मण्डलायुक्त ने माना कि गोरखपुर के प्रति लोगों का आकर्षण बढ़ रहा है। इससे आवासीय और व्यावसायिक जरूरतों की मांग को पूरा करने की चुनौती रहेगी। ऐसे में इस तरह की परियोजनाएं शहर के लिए जरूरी हैं। प्राधिकरण के उपाध्यक्ष महेंद्र सिंह तंवर ने मंडलायुक्त को न्यू गोरखपुर प्रोजेक्ट के साथ गोरखपुर इन्क्लेव आवास योजना, ग्राम सोनबरसा के माडल टाउन योजना, पंचायत भवन व स्मार्ट स्कूल निर्माण कार्य की जानकारी दी।
इन परियोजनाओं पर भी बैठक में हुई चर्चा
बैठक में जीडीए वीसी महेंद्र सिंह तंवर ने खोराबार में मेडिसिटी आवासीय योजना, राप्ती नगर विस्तारीकरण, रामगढ़ताल रिंग रोड, सुमेर सागर ताल सौन्दर्यीकरण, एकीकृत मण्डलीय कार्यालय तथा रामगढ़ताल के आसपास पर्यटन विकास, 17 पीडियाट्रिक आईसीयू, 63 परिषदीय विद्यालयों के कायाकल्प आदि परियोजना के बारे में विस्तार से जानकारी दी और अभी तक हुई प्रगति से अवगत कराया।
परियोजना में विलंब पर मिलेगी बैड एंट्री
मण्डलायुक्त ने कहा कि अधिकारी प्रोजेक्ट की स्वयं निगरानी करें। तय अवधि में कार्य पूर्ण कराएं। बेवजह विलंब पर संबंधित अधिकारियों की जवाबदेही तय की जाएगी। वेतन कटौती से लेकर बैड एंट्री तक की कार्रवाई हो सकती है। डोर टू डोर कूड़ा कलेक्शन व सफाई व्यवस्था की भी जानकारी ली और हिदायत दी कि रामगढ़ताल के आसपास सफाई पर निरंतर ध्यान दिया जाए।